2014-10-03

कविता - अच्छे लोगों की इज्जत

अच्छे लोगों की इज्जत
कभी कम नहीं होती।
सोने के सौ टुकड़े करो,
 फिर भी कीमत
 कम नहीं होती।
भूल होना "प्रकति " है,
मान लेना "संस्कृति" है,
सुधार लेना "प्रगति" है,
ये रास्ते ले ही जाएंगे....
मंजिल तक, तू हौसला रख,
कभी सुना है कि अंधेरे ने
सुबह ना होने दी हो..!!!

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